



SOCIETY'S LOAN:
A SALIENT FEATURE
There are three types of loan, as described, are being sanctioned to its eligible members
Government Employees (Urban) Co-op. Thrift & Credit Society Ltd. is having its registered office at 159-160-161, Cycle Market, Jhandewalan Extn., New Delhi-110055. The registration number is 313/S. The Society is functioning from the said place.
Society's main aim is to help its members by giving loans to purchase household articles etc. The Society is looking forward to grow stronger and work more efficiently and dedicatedly for the cause of its members.
Cricket and football are two popular games in the world. The stadiums in which these games are played mainly have two groups of persons, one, players and other spectators. Players take active part in the game whereas; spectators only see the game and give comments on the style or behavior of the players. Spectators may also be divided in two groups.
Read Moreगवर्नमेंट एम्प्लायज (अर्बन) को-आपरेटिव थ्रिफ्ट एन्ड क्रेडिट सोसाइटी, दिल्ली के महासचिव के रूप में सोसाइटी के सम्मानित सदस्यों को यह सूचित करते हुये अत्यन्त ही हर्ष की अनुभूति हो रही है कि आप सभी सदस्यों के सक्रिय सहयोग, प्रबन्ध समिति एवम कर्मचारियों के कठिन परिश्रम के परिणाम स्वरुप हमारी यह सोसाइटी जिसकी स्थापना 29 दिसम्बर 1967 को कुछ दूरदृष्टा वरिष्ठ साथियों द्वारा की गई थी आज वह अपने पचास वर्ष पूर्ण कर चुकी है
Read Moreगवर्नमेंट एम्प्लायज (अर्बन) को-आपरेटिव थ्रिफ्ट एन्ड क्रेडिट सोसाइटी, दिल्ली के महासचिव के रूप में सोसाइटी के सम्मानित सदस्यों को यह सूचित करते हुये अत्यन्त ही हर्ष की अनुभूति हो रही है कि आप सभी सदस्यों के सक्रिय सहयोग, प्रबन्ध समिति एवम कर्मचारियों के कठिन परिश्रम के परिणाम स्वरुप हमारी यह सोसाइटी जिसकी स्थापना 29 दिसम्बर 1967 को कुछ दूरदृष्टा वरिष्ठ साथियों द्वारा की गई थी आज वह अपने पचास वर्ष पूर्ण कर चुकी है I मुझे गर्व है कि जिस सोसाइटी ने अपना कार्य कलाप डलहौजी रोड के एक किराये के कमरे से आरम्भ किया था आज उसी सोसाइटी के पास झंडेवालान ऑफिस काम्प्लेक्स में स्वयं के चार पूर्णत: वातानुकूलित, कम्पुटराइजड सुसज्जित कार्यालय है, जहाँ सोसाइटी सुविधापूर्वक अपने स्वयं के संसाधनों से निरन्तर प्रगति कर रही है I
यह कहना उचित होगा कि 50 वर्ष पूर्व सोसाइटी की स्थापना जिन निष्ठावान व्यक्तियों ने वर्ष 1967 में की थी उस समय उन लोगों ने शायद ही कल्पना की होगी कि सोसाइटी भविष्य में स्वर्णजयंती वर्ष तक पहुच पायेगी, परन्तु आज हम गर्वान्न्वित है कि हम सभी के लग्न, निष्ठापूर्वक, कठिन परिश्रम के कारण सोसाइटी उत्तरोत्तर प्रगति करती हुई सफलता के उत्तुंग शिखर पर तो पहुँच ही गई साथ ही दिल्ली की अन्य सहकारी समितियों के लिये एक उदाहरण बन चुकी है I हमारी सोसाइटी के निष्पक्षतापूर्ण एवम पारदर्शी,कार्यकलाप के कारण ही दिल्ली सरकार के सहकारिता विभाग द्वारा तीन बार सर्वश्रेष्ठ सोसाइटी के पुरष्कार से तथा सोसाइटी के महासचिव, कोषाध्यक्ष एवम अध्यक्ष को भी सहकारिता के क्षेत्र में उनके कुशल नेतृत्व एवम श्रेष्ठ प्रबंधन के लिये सम्मानित किया जा चुका है I
प्रसन्नता के इस अवसर पर मै उनपूर्व एवम वर्तमान सदस्यों को हृदय की गहराइयों से धन्यवाद देता हूँ जो इस सोसाइटी के विकास और प्रगति के साथ जुड़े हैं, जिनकी प्रातिबद्धता,समर्थन, विश्वास के संबल के बिना हम इस सफलता को प्राप्त नहीं कर पाते I
जैसा कि आप को ज्ञात ही है कि सोसाइटी अपनी सफलता के इस पचास वर्ष को स्वर्णजयंती समारोह के रूप में मनाना चाहती है, और इस विषय पर विगत आमसभा के लिये जारी सूचना प्रपत्र (पुस्तिका) में सूचित किया गया था साथ ही वार्षिक आमसभा में समारोह के लिये तालकटोरा हाल के बुकिंग की सूचना दी गई थी, किन्तु विषम आर्थिक परिस्थितियों एवम अपेक्षित महत्वपूर्ण अतिथियों की निर्धारित तिथियों पर अनुपलब्धता के कारण न चाहते हुये भी इस समारोह को आगामी वित्त वर्ष के लिये स्थगित करना पड़ रहा है I परन्तु मै अपने प्रबन्ध समिति के सदस्यों के साथ आप को यह आश्वासन देता हूँ कि निकट भविष्य में इस समारोह को भव्यता पूर्ण तरीके से आयोजित किया जायेगा जिसकी सूचना आप सभी को प्रेषित की जाएगी I इसके लिये आप सभी सदस्यों से आप के सक्रिय सहयोग की अपेक्षा है I सोसाइटी की प्रबन्ध समिति का यह स्पष्ट मत है कि इस समारोह को आयोजित करने के कारण सोसाइटी पर आर्थिक बोझ नहीं पड़ना चाहिए, जिसके लिये आप सभी सदस्यों से विनम्रतापूर्वक अनुरोध है कि अपने प्रयासों और सम्बन्धो का उपयोग करते हुये समारोह के लिये प्रायोजक (स्पोन्सर), प्रमोटर,एवम स्मारिका (सोवेनियर) हेतु विज्ञापन इत्यादि कि व्यवस्था करवाने का प्रयास करें जिससे हम एक प्रभावी, भव्य, एवम यादगार समारोह का आयोजन कर सके I
अन्तत: आप सभी सदस्यों को एकबार पुनः बधाई देते हुये उस सर्वशक्तिमान ईश्वर से प्रार्थना करता हूँ कि भविष्य में हमारे प्रयसों को पूरा करने की क्षमता एवम सामर्थ्य प्रदान करे I
आप के सहयोग की अपेक्षा में, आप का अपना
सुरेन्द्र कुमार शर्मा
Cricket and football are two popular games in the world. The stadiums in which these games are played mainly have two groups of persons, one, players and other spectators. Players take active part in the game whereas; spectators only see the game and give comments on the style or behavior of the players. Spectators may also be divided in two groups. One group offers positive or realistic comments about the game and other one gives only negative comments. Study shows that which offers only negative comments have a lesser knowledge of rules, but more in numbers.
This philosophy is also applicable in running any institution like our cooperative society. In my view, general members who offer only negative comments on the functioning of this cooperative society are सुविधा भोगी and others are दुविधा भोगी.ा है।
सुविधा भोगी are those who only considers their needs not rules of the game. However, a दुविधा भोगी put his demands with confusion between the prevailing rules of the game and his demand or requirement. दुविधा भोगी are considerate of rules of the cooperative society and the managing committee enjoys to help them. On the other hand सुविधा भोगी do not consider the rule position of the cooperative society.
I personally feel that it is the prime duty of the members of Managing Committee and other general members to teach the rule of business to the सुविधा भोगी members to create a healthy cooperative atmosphere.